हमारे व्हाट्सएप ग्रुप से जुड़ें

किसानों की आय दोगुनी करने के लिए वैज्ञानिक खोजों को खेतों से जोड़ना जरूरी

WhatsApp Group Join Now
Instagram Group Join Now
Telegram Group Join Now

 

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने किया एन.के.सी. सेंटर फॉर जीनोमिक्स रिसर्च का शुभारंभ

 

मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि किसानों की आय दोगुनी करने के लिए कृषि विज्ञान के क्षेत्र में हो रही नवीनतम खोजों और विकसित हो रही तकनीक को किसान के खेत से जोड़ना जरूरी है।

एग्री जीनोमिक्स ऐसा वैज्ञानिक क्षेत्र है, जिससे अधिक उपज, कीट प्रतिरोधक क्षमता और फसल की गुणवत्ता सुनिश्चित की जा सकती है।

किसानों को अद्यतन वैज्ञानिक जानकारियाँ उपलब्ध कराने में श्री नंदकुमार सिंह चौहान (एन.के.सी.) सेंटर फॉर जीनोमिक्स रिसर्च मील का पत्थर साबित होगा।

 

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने न्यूक्लियोम इंफॉर्मेटिक्स द्वारा हैदराबाद में स्थापित सेंटर का मुख्यमंत्री निवास से वर्चुअल शुभारंभ कर रहे थे।

 

प्रदेश में स्थापित होगी एशिया की सबसे बड़ी जीनोमिक्स लेब

न्यूक्लियोम इंफॉर्मेटिक्स के प्रबंध संचालक श्री दुष्यंत सिंह बघेल ने बताया कि उनके संस्थान द्वारा इंदौर में एशिया की सबसे बड़ी जीनोमिक्स लेब 165 करोड़ की लागत से स्थापित की जाएगी।

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा है कि लेब की स्थापना में राज्य सरकार हरसंभव सहायता प्रदान करेगी।

 

डीएनए विधेयक पारित कराने में श्री नंद कुमार चौहान की रही महत्वपूर्ण भूमिका

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने निमाड़ क्षेत्र में स्व. श्री नंदकुमार सिंह चौहान द्वारा कृषि के उन्नयन के लिए किए गए प्रयासों का स्मरण करते हुए कहा कि उनके द्वारा संसद में डीएनए विधेयक को पारित कराने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।

उनके परिवार द्वारा कृषि और पशुपालन के क्षेत्र में देश के किसानों को वैश्विक स्तर की वैज्ञानिक जानकारियाँ उपलब्ध कराने के लिए किए जा रहे प्रयास सराहनीय हैं।

 

सोयाबीन की फसल सुधार में सहायक होगा एग्री जीनोमिक्स

मुख्यमंत्री श्री चौहान ने कहा कि प्रदेश में सोयाबीन की फसल लगातार खराब हो रही है।

इससे किसान बहुत अधिक प्रभावित हैं। एग्री जीनोमिक्स के उपयोग से सोयाबीन की फसल में सुधार के प्रयोग किए जा सकते हैं।

इससे प्रदेश के किसानों को लाभ होगा।

 

उल्लेखनीय है कि एग्री जीनोमिक्स एक वैज्ञानिक क्षेत्र है, जो फसल सुधार में योगदान दे रहा है।

इससे फसल में कीट प्रतिरोधक क्षमता, पौधों के स्ट्रेस टोलरेंस में सुधार कर बेहतर गुणवत्ता की फसलों का अधिक उत्पादन संभव होता है।

न्यूक्लियोम इंफॉर्मेटिक्स ने इस क्षेत्र में 2013 में अपनी यात्रा आरंभ की।

संस्था द्वारा पशुओं की जीनोम सिक्वेंसिंग का भी कार्य किया जा रहा है।

 

यह भी पढ़े : जानिए इस वर्ष आपके जिलें में कौन सी कंपनी ने किया है फसल बीमा और क्या हैं उनके टोल फ्री नम्बर

 

यह भी पढ़े : सप्ताह अंत में हो सकती है बारिश

 

source

 

शेयर करे