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किसानों को 3.5 लाख रुपये प्रति हेक्टेयर तक की कमाई करवा सकता है ‘हरा सोना’

 

बांस की खेती के लिए मिशन मोड में काम कर रही है सरकार.

 

खेती करने के इच्छुक किसानों को मिलेगी आर्थिक मदद.

 

अब किसान बिना किसी रोकटोक बांस की खेती कर सकते हैं. क्योंकि केंद्र सरकार ने इसे पेड़ की श्रेणी से हटा दिया है.

इसकी खेती बढ़ाने के लिए नौ राज्यों में 22 बांस क्लस्टरों की शुरुआत की गई है. इस समय 13.96 मिलियन हेक्टेयर में इसकी खेती हो रही है.

बांस की 136 प्रजातियां हैं. जिस काम के लिए खेती करना चाहते हैं वैसी प्रजाति चुन सकते हैं.

केंद्रीय कृषि मंत्रालय का अनुमान है कि इसकी खेती से किसान हर साल 3.5 लाख रुपये प्रति हेक्टेयर तक की कमाई कर सकते हैं.

यह किसानों के लिए ‘हरा सोना’ बनकर उभर रहा है.

 

मोदी सरकार ने बांस की बड़े पैमाने पर खेती के लिए राष्ट्रीय बैंबू मिशन बनाया है. जिसके तहत किसानों को बांस की खेती करने पर प्रति पौधा 120 रुपये की सरकारी सहायता भी मिलेगी.

कृषि एवं ग्रामीण अर्थव्यवस्था के विशेषज्ञ बिनोद आनंद ने कहा, “बांस पर्यावरण हितैषी भी है. क्योंकि लकड़ी का नया विकल्प बनकर उभर रहा है.

इससे वृक्षों की अंधाधुंध कटाई पर लगाम लगेगी. यह प्लास्टिक, स्टील और सीमेंट का भी विकल्प बनकर पर्यावरण की रक्षा कर रहा है.

यह किसानों का मित्र है.” इसीलिए सरकार न सिर्फ किसानों को बांस की खेती के लिए मदद दे रही है बल्कि उससे जुड़े लघु तथा कुटीर उद्योगों के लिए 50 प्रतिशत तक अनुदान भी दिया जा रहा है.

 

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किस काम के लिए कर रहे हैं बांस की खेती ?

  • अलग-अलग काम के लिए अलग-अलग बांस की किस्में हैं.
  • इसलिए यह देखकर प्रजाति का चयन करें कि किस काम के लिए इसकी खेती कर रहे हैं.
  • बांस की खेती आमतौर पर तीन से चार साल में तैयार होगी.
  • चौथे साल में कटाई शुरू कर सकते हैं.
  • इसका पौधा तीन-चार मीटर की दूरी पर लगाया जाता है.
  • इसके बीच की जगह पर आप कोई और खेती कर सकते हैं.

 

 

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सरकार से आर्थिक मदद

  • तीन साल में औसतन 240 रुपये प्रति प्लांट की लागत आएगी.
  • इसमें से 120 रुपये प्रति प्लांट सरकारी मदद मिलेगी.
  • पूर्वोत्तर को छोड़ कर अन्य क्षेत्रों में इसकी खेती के लिए 50 फीसदी मदद.
  • 50 फीसदी सरकारी शेयर में 60 फीसदी केंद्र और 40 फीसदी राज्य की हिस्सेदारी होगी.
  • पूर्वोत्तर में 60 फीसदी सरकार देगी और 40 फीसदी किसान लगाएगा.
  • 60 फीसदी सरकारी मदद में 90 फीसदी केंद्र और 10 फीसदी राज्य सरकार देगी.
  • जिले में इसका नोडल अधिकारी आपको पूरी जानकारी दे देगा.
  • भारत में बांस की खेती की रोपाई जुलाई महीने में होती है.
  • सरकारी नर्सरी से पौध फ्री मिलेगी.

 

बांस की खेती से कमाई

  • प्रजाति के हिसाब से एक हेक्टेयर में 1500 से 2500 पौधे लगा सकते हैं.
  • अगर आप 3 गुणा 2.5 मीटर पर पौधा लगाते हैं तो एक हेक्टेयर में करीब 1500 प्लांट लगेंगे.
  • कृषि मंत्रालय के मुताबिक 4 साल बाद 3 से 3.5 लाख रुपये की कमाई होने लगेगी.
  • खेत के मेड़ पर आप 4 गुणा 4 मीटर पर बांस लगा सकते हैं.
  • इससे एक हेक्टेयर में चौथे साल से करीब 30 हजार रुपये की कमाई होने लगेगी.
  • हर साल रिप्लांटेशन करने की जरूरत नहीं है. बांस की पौध करीब 40 साल तक चलती है.
  • यह धरती का सबसे तेजी से बढ़ने वाला पौधा है.
  • इसकी कुछ प्रजातियां एक दिन में 8 से 40 सेमी तक बढ़ती देखी गई हैं.

 

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